
बिलासपुर-अपोलो हॉस्पिटल पर मरीजों के साथ इलाज में लापरवाही के पूर्व में कई आरोप लगते रहे हैं. वही रुपयों के लिए शवों को बंधक बनाने के भी मामले सामने आये हैं. इसके बावजूद अपोलो हॉस्पिटल के प्रबंधन द्वारा कोई ठोस कदम नहीं उठाया गया. अपोलो में इलाज के लिए लाखो रूपए तो लिए जाते हैं, लेकिन सुविधाओं के नाम पर खानापूर्ति की जाती है सोमवार रात को 9 बजे
अपोलो हॉस्पिटल में इलाज कराने गई बुजुर्ग महिला को आपातकालीन चिकित्सा कर्मचारी ने लापरवाहीपूर्वक स्ट्रेचर से नीचे गिरा दिया. इससे महिला के सिर पर चोट आई और कंधे में माइनर फ्रेक्चर आ गया है. परिजनों ने अपोलो प्रबंधन पर घटना में लीपा-पोती करने का आरोप लगाया है.
मोपका के विवेकानंद नगर निवासी विमला गुप्ता एसईसीएल के रिटायर्ड कर्मचारी इंद्रजीत गुप्ता की पत्नी हैं. वृद्धा की कुछ दिनों से तबीयत खराब थी. शुगर बढ़ने और कमर के नीचे के हिस्से में ताकत न मिलने की वजह से परिजनों ने उसे अपोलो हॉस्पिटल में भर्ती कराया. आपातकालीन चिकित्सा के कर्मचारी उसे एक्स-रे के लिए ले जा रहे थे. इसी दौरान कर्मचारी की लापरवाही के कारण बुजुर्ग महिला स्ट्रेचर से नीचे गिर गई. इससे उसे सिर पर गंभीर चोट आई. वहीं कंधे में माइनर फ्रेक्चर भी आ गया. वृद्धा के बेटे आशीष कुमार गुप्ता ने बताया की बड़े अस्पताल में इस तरह की लापरवाही के बारे में हम कभी सोच
भी नहीं सकते थे. यहां के कर्मचारियों की लापरवाही की वजह से मेरी मां को एक और परेशानी से जूझना पड़ रहा है.
